नरम सड़न रोग सेब की कटाई के बाद होने वाली एक प्रमुख बीमारी है, जो कई कवक रोगजनकों, सबसे आम तौर पर राइजोपस स्टोलोनिफ़र और पेनिसिलियम एक्सपेंसम के कारण होती है। ये कवक कटाई, रख-रखाव, भंडारण या परिवहन के दौरान होने वाले घावों या चोटों के माध्यम से सेब को संक्रमित कर सकते हैं। नरम सड़न रोग सेब उत्पादकों और खुदरा विक्रेताओं के लिए महत्वपूर्ण आर्थिक नुकसान का कारण बन सकता है। संक्रमित सेब विपणन योग्य नहीं हैं और उपभोग के लिए अनुपयुक्त हैं। यह रोग भंडारण में रखे स्वस्थ सेबों में भी फैल सकता है, जिससे और अधिक नुकसान हो सकता है।
कीटों/बीमारियों के लिए पर्यावरणीय अनुकूल कारक:
तापमान: अधिकांश नरम सड़न रोगज़नक़ गर्म मौसम में पनपते हैं, आमतौर पर 20°C और 30°C के बीच। गर्म तापमान फंगल विकास और बीजाणु उत्पादन को तेज करता है, जिससे संक्रमण का खतरा और बढ़ जाता है।
आर्द्रता: फंगल रोगजनकों को विकास और बीजाणु फैलाव के लिए नम वातावरण की आवश्यकता होती है। बगीचों या भंडारण सुविधाओं में उच्च आर्द्रता का स्तर (90% से ऊपर) इन कवक के विकास के लिए अनुकूल वातावरण बनाता है, जिससे नरम सड़न संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।
कीट/रोग के लक्षण:
कीट/रोगों पर नियंत्रण के उपाय:
उत्पादों | तकनीकी नाम | मात्रा बनाने की विधि |
Coc 50 | कॉपर ऑक्सीक्लोराइड 50% डब्लू.पी | 2 ग्राम/लीटर |
Tyson | ट्राइकोडर्मा विराइड | कात्यायनी ट्राइकोडर्मा विराइड का 1-2 कि.ग्रा |
Azozole | एज़ोक्सीस्ट्रोबिन 18.2 % + डिफ़ेनोकोनाज़ोल 11.4 % एससी | प्रति एकड़ 150-200 मि.ली |