प्याज की खेती में कई तरह की समस्याएं देखने को मिलती हैं, जो फसल की गुणवत्ता और उत्पादन को प्रभावित करती हैं। किसानों के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे इन समस्याओं को समय रहते पहचानें और उनका प्रभावी समाधान अपनाएं। इस ब्लॉग में, हम प्याज की फसल में होने वाली टॉप 5 समस्याओं और उनके सटीक समाधान पर चर्चा करेंगे।

प्याज में थ्रिप्स रोग और उसका समाधान
थ्रिप्स का प्रभाव
प्याज की फसल 50 दिन से ऊपर हो गई है और पत्तों पर सफेद धारियां दिख रही हैं, तो समझ लें कि थ्रिप्स का प्रकोप शुरू हो चुका है! यह जिद्दी कीट पत्तियों का रस चूसकर उन्हें कमजोर कर देता है, जिससे पौधों की वृद्धि रुक जाती है और उत्पादन घटने लगता है। तापमान बढ़ते ही इसका असर और तेज हो जाता है।"
प्याज में थ्रिप्स की दवा
थ्रिप्स नियंत्रण के लिए नियमित छिड़काव करना आवश्यक है। हर 15-20 दिन में एक स्प्रे करना चाहिए:
- पहला स्प्रे: फ़ैंटेसी फिप्रोनिल 5% एससी (250ml प्रति एकड़)
- दूसरा स्प्रे: प्रॉप्सिप प्रोफेनोफॉस 40 % + साइपरमेथ्रिन 4 % ईसी (400ml प्रति एकड़)
- तीसरा स्प्रे: नाशक फिप्रोनिल 40% + इमिडाक्लोप्रिड 40% (लंबे समय तक प्रभावी)
प्याज में फफूंद जनित रोग और उसका समाधान
मुख्य फफूंद रोग
प्याज की फसल में बैंगनी धब्बा रोग, टिप बर्निंग और ब्लाइट जैसी बीमारियां पत्तियों को नुकसान पहुंचाती हैं, जिससे उपज में भारी गिरावट आती है।
फफूंद रोगों के लिए प्रभावी उपचार
- डॉ. ज़ोल एज़ोक्सीस्ट्रोबिन 11 टेबुकोनाज़ोल 18.3 एससी (250ml प्रति एकड़)
- इस दवा को छिड़काव से पहले अच्छी तरह हिलाएं ताकि यह सही तरीके से मिल जाए।
- यह सिस्टमिक रूप से कार्य करती है, जिससे पूरी फसल में इसका असर होता है।
प्याज में पीलापन का कारण और उसका समाधान
प्याज में पीलापन आने के कारण
- थ्रिप्स का प्रकोप
- फफूंद जनित रोग
- पोषक तत्वों की कमी
प्याज में पीलापन कैसे दूर करें
प्याज की पत्तियों को हरा और स्वस्थ रखने के लिए प्रोग्रीन किट का उपयोग करें। इसमें दो मुख्य घटक होते हैं:
- सीवीड एक्सट्रैक्ट (250ml प्रति एकड़)
- मिक्स माइक्रो न्यूट्रिएंट (100g प्रति एकड़)
इन दोनों को मिलाकर स्प्रे करने से प्याज में पीलापन की दवा का प्रभाव दिखेगा, फसल हरी होगी और प्याज का आकार भी बेहतर होगा।
प्याज का कंद कैसे बढ़ाएं और मोटा करने के लिए सही खाद और टोनिक
प्याज का कंद क्यों छोटा रह जाता है?
- नाइट्रोजन की अधिक मात्रा से प्याज की वानस्पतिक वृद्धि ज्यादा होती है, लेकिन प्याज का कंद छोटा रह जाता है।
- फास्फोरस, पोटाश और सल्फर की कमी से प्याज का साइज बढ़ाने की दवा का सही उपयोग नहीं हो पाता।
प्याज का कंद बढ़ाने की दवा
- एनपीके 0:52:34 - प्याज को मोटा कैसे करें, इसके लिए उपयोग करें।

- एनपीके 0:0:50 - अंतिम चरण में पोटाश और सल्फर की पूर्ति करता है।
- पक्लोब्यूट्राजोल + बोरॉन EDTA 20% - वानस्पतिक वृद्धि कम करता है और प्याज के कंद को बड़ा बनाता है।
- कैल्शियम नाइट्रेट - प्याज के कंद को सख्त और बेहतर आकार में लाने के लिए आवश्यक।
प्याज में जलेबी रोग की दवा और उसका समाधान
जलेबी रोग के मुख्य कारण
- अत्यधिक बारिश से पौधों की पत्तियां कमजोर हो जाती हैं।
- थ्रिप्स का प्रकोप भी इस रोग को बढ़ाने में योगदान देता है।
- अधिक नाइट्रोजन खाद देने से पत्तियां कमजोर होकर मुड़ने लगती हैं।
- प्याज में जलेबी रोग की दवा और रोकथाम
बारिश के मौसम में नाइट्रोजन की मात्रा को संतुलित करें।
- थ्रिप्स नियंत्रण दवाओं का नियमित छिड़काव करें।
- यदि जलेबी रोग दिखाई दे, तो फसल में कैल्शियम नाइट्रेट का छिड़काव करें।
निष्कर्ष
यदि किसान प्याज की फसल में थ्रिप्स, फफूंद रोग, पीलापन, कंद की वृद्धि और जलेबी रोग जैसी समस्याओं का सही समय पर समाधान करें, तो वे बेहतर उत्पादन प्राप्त कर सकते हैं। सही उर्वरक, कीटनाशक और जैविक उपायों के संतुलित उपयोग से प्याज की गुणवत्ता और उपज में वृद्धि संभव है।
FAQs: प्याज की खेती से जुड़े सवालों के आसान जवाब
1. प्याज में थ्रिप्स के लिए सबसे अच्छी दवाई कौन सी है?
फिप्रोनिल 5% SC (250ml प्रति एकड़) और प्रोफेनोफास 40% + साइपरमेथ्रिन 4% EC (400ml प्रति एकड़) थ्रिप्स को तेजी से खत्म करने के लिए सबसे असरदार दवाएं हैं।
2. प्याज को मोटा करने के लिए कौन सा खाद डालें?
एनपीके 0:52:34 और एनपीके 0:0:50 प्याज का कंद मोटा और बड़ा करने के लिए सबसे अच्छे उर्वरक हैं।
3. प्याज में जलेबी रोग क्यों आता है?
अत्यधिक बारिश, थ्रिप्स का प्रकोप और नाइट्रोजन की अधिक मात्रा जलेबी रोग का मुख्य कारण हैं।
4. प्याज में कौन सी दवाई डाली जाती है?
प्याज में थ्रिप्स, फफूंद और जलेबी रोग रोकने के लिए फिप्रोनिल, प्रोफेनोफास, एजॉक्सीस्ट्रोबिन + टेबुकोनाजोल जैसी दवाएं डाली जाती हैं।
5. प्याज का कंद बढ़ाने के लिए क्या डालें?
प्याज के कंद को बड़ा करने के लिए पक्लोब्यूट्राजोल + बोरॉन EDTA 20% और कैल्शियम नाइट्रेट सबसे अच्छे विकल्प हैं।
6. प्याज पीले क्यों हो जाते हैं?
प्याज के पत्ते थ्रिप्स के प्रकोप, फफूंद रोग और पोषक तत्वों की कमी के कारण पीले पड़ जाते हैं।
7. प्याज के पौधों में पीलापन कैसे दूर करें?
सीवीड एक्सट्रैक्ट (250ml प्रति एकड़) और मिक्स माइक्रो न्यूट्रिएंट (100g प्रति एकड़) का स्प्रे करने से प्याज की पत्तियां हरी और स्वस्थ रहती हैं।